Vande Gujarat News
Breaking News
AgricultureBreaking NewsFarmerGovtIndiaNationalPoliticalProtest

कृषि कानून वापस नहीं लेगी सरकार, 3 बड़े संशोधनों पर राजी, जानिए कहां अटका पेच

किसानों और सरकार के बीच होने वाली छठे दौर की वार्ता रद्द हो गई है. लेकिन आज ही सरकार किसानों को एक लिखित प्रस्ताव दे सकती है, जिसमें किसानों की कुछ मांगों को माना जा सकता है.

क्या संशोधनों से मानेंगे किसान? (फोटो: PTI)

कृषि कानून के खिलाफ किसानों का दिल्ली की सीमाओं पर धरना पिछले दो हफ्तों से जारी है. मंगलवार को भारत बंद बुलाया गया, जिसे राजनीतिक दलों ने समर्थन दिया. लेकिन शाम होते-होते तस्वीर बदलती दिखी, किसान नेताओं ने गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात की. कई घंटों तक चली इस बैठक में किसानों की मांग पर बात हुई और सरकार ने ये स्पष्ट कर दिया कि कृषि कानून वापस नहीं होंगे. हालांकि, सरकार कानून में कुछ संशोधन करने पर राजी होती दिख रही है.

अमित शाह और किसान नेताओं की बैठक में क्या हुआ?
भारत बंद की मियाद खत्म होने के तुरंत बाद किसान नेता राकेश टिकैत ने जानकारी दी कि शाम को गृह मंत्री अमित शाह कुछ किसान नेताओं से मिलेंगे. शाम सात बजे बैठक का वक्त तय हुआ, लेकिन जगह को लेकर कन्फ्यूजन के कारण मीटिंग देरी से शुरू हुई. देर रात तक चली बैठक के बाद जब किसान नेता बाहर आए तो पूरी तरह से संतुष्ट नहीं दिखे.

किसान नेताओं के मुताबिक, सरकार कृषि कानून वापस ना लेने पर अड़ी है और संशोधनों के साथ लिखित प्रस्ताव देने की बात कह रही है. बुधवार को ही सरकार प्रस्ताव देगी, जिसपर किसान मंथन करेंगे.

किन संशोधनों पर मान रही है सरकार?
किसानों की ओर से कृषि कानून में काफी खामियां गिनाई गईं और कहा गया कि सभी कानूनों को वापस लिया जाए. हालांकि, अब सरकार ने जब ये साफ कर दिया है कि वो कानून वापस नहीं लेगी, ऐसे में किसानों की कुछ मुख्य चिंताओं को दूर करने की कोशिश की है.

•    कॉन्ट्रैक्ट फार्मिंग के कानून में अभी किसान के पास कोर्ट जाने का अधिकार नहीं है, ऐसे में सरकार इसमें संशोधन कर कोर्ट जाने के अधिकार को शामिल कर सकती है.

•    प्राइवेट प्लेयर अभी पैन कार्ड की मदद से काम कर सकते हैं, लेकिन किसानों ने पंजीकरण व्यवस्था की बात कही. सरकार इस शर्त को मान सकती है.

•    इसके अलावा प्राइवेट प्लेयर्स पर कुछ टैक्स की बात भी सरकार मानती दिख रही है.

•    किसान नेताओं के मुताबिक, अमित शाह ने MSP सिस्टम और मंडी सिस्टम में किसानों की सहूलियत के अनुसार कुछ बदलाव की बात कही है.

अमित शाह के साथ बैठक खत्म होने के बाद किसान नेता (PTI)

किन मसलों पर किसानों को दिक्कत थी? 
किसान नेता हनन मुल्ला के मुताबिक, सरकार ने कहा है कि कानून वापस नहीं लिए जाएंगे लेकिन कुछ संशोधन किए जा सकते हैं. दरअसल, किसान अब कानून वापसी पर अड़ते दिखे हैं. किसान नेताओं का तर्क है कि अगर कानून में संशोधन होता है तो उसकी रूपरेखा बदल जाएगी. वो किसी और स्टेकहोल्डर को गलत तरीके से प्रभावित कर सकता है.

किसानों ने सरकार के साथ पिछले कई दौर की बातचीत में बिंदुवार खामियां गिनाई हैं, ऐसे में किसानों का कहना है कि जिस कानून में इतनी संशोधन की जरूरत हो, हर कानून में लगभग 8 से 10 गलतियां हों तो उसका औचित्य क्या रह जाता है. किसानों को कानून की शब्दावली से भी दिक्कत है, जो किसानों के लिए मुश्किलें पैदा कर रही है.

किसानों की ओर से सरकार को पहले भी कहा जा चुका है कि सरकार MSP को कानून का हिस्सा बनाए, हालांकि सरकार इस बात का भरोसा दे रही है कि MSP कभी खत्म नहीं होगी. इसके अलावा किसानों की मांग थी कि मंडी सिस्टम खत्म ना हो, क्योंकि मंडियों में मौजूद आड़तियों के साथ जैसा कामकाज किसानों का होता है, वो किसी कंपनी के साथ नहीं हो सकता है.

संबंधित पोस्ट

કોરોના મહામારી ફરી વિશ્વમાં હાહાકાર મચાવી રહી છે એવા સમયે પોરબંદર માંથી મુન્નાભાઈ એમબીબીએસ પકડાયા!

Vande Gujarat News

અબુધાબીમાં પ્રથમ હિંદુ મંદિર:‘અલ વાકબા’માં 20 હજાર મીટરમાં BAPSનું સ્વામિનારાયણ મંદિર બનશે, ડિઝાઈન જાહેર કરવામાં આવી

Vande Gujarat News

ગણેશ સુગરની 31 ડિસેમ્બરની સાધારણ સભા ન યોજવા અરજી

Vande Gujarat News

सरकार 30 जनवरी को बुलाएगी सर्वदलीय बैठक, एक फरवरी को सीतारमण पेश करेंगी केंद्रीय बजट

Vande Gujarat News

પાનોલીની વાન્કસન્સ કેમિકલ્સમાં મૃત્યુ પામેલા કામદારના વળતર અંગે વિવાદ…

Vande Gujarat News

योजना:बुलेट ट्रेन में अचानक बीमार होने पर यात्रियों के लिए फोल्डिंग बेड की सुविधा, शांत माहौल देने ट्रेन के लिए पूरा रेक होगा एयर टाइट

Vande Gujarat News